Sunday, 14 August 2022

मलिक मोहम्मद जायसी, पद्मावत और मेरी अवधी



आप मध्य काल के कवियों को पढ़ें और “मलिक मोहम्मद जायसी” को ही न पढ़ें यह कैसे हो सकता है। निर्गुण प्रेमाश्रयी शाखा के सर्वश्रेष्ठ हस्ताक्षर और इनकी कृति “पद्मावत” सर्वोत्तम; मेरी बेहद पसंदीदा रचनाओं में से एक। इसलिए नहीं कि यह मध्य काल की सर्वोत्कृष्ट रचनाओं में से एक है; कम से कम मेरे लिए यह इकलौता कारण नहीं है, बल्कि एक और कारण भी है - इसका लोक अवधी में लिखा जाना; मेरी मातृभाषा में।

मैं अवध क्षेत्र के गोण्डा जिले से हूं और मैं मानता हूं कि हमारी अवधी ही सबसे शुद्ध अवधी है; साहित्यिक ही नहीं, बोलचाल वाली भी। क्योंकि जहां से इसके संस्कार आते हैं, वे हमारे ही घरों के आंगन हैं। इसका दूसरा प्रमाण यह भी है कि मैंने अपने क्षेत्र के अलावा अवधी को इतनी स्वतंत्रता और शुद्धता के साथ बोलते और स्वीकारते कहीं और नहीं सुना। अन्य क्षेत्रों की भाषाओं और बोलियों पर भी अवधी का प्रभाव है और प्रयोगधर्मिता के आधार पर वे भी अवधी कह दी जाती हैं, लेकिन बिना मिलावट वाला घी बस हमारी ही दुकान पर मिलता है।

खैर.... लौटते हैं पद्मावत पर!