Wednesday, 3 July 2019

एक कवि की मौन पीड़ा


वो एक कवि
जो लिखना चाहता है
वर्तमान परिस्थितियों पर कविता
तीक्ष्ण व्यंग
कुछ कटाक्ष भी
और संग्रहीत कर देना चाहता है
अपने संकलन में,
      
जिससे
आने वाली पीढ़ियां
यह ना कह पाएं
कि तुम मौन क्यों थे
क्यों नहीं लिखा तुमने सच
जो तुम्हारी आंखों के सामने हो रहा था
कहां छुपे हुए थे तुम
प्रेमिका के पल्लू या जुल्फों में तो नहीं।